जीवन का आनंद वह कैसे लें।
जीने की हो जिसे अधिक चाहा,
वह अपने लिए जिए।
दोनों में जो संतुलन रखे,
वह जीवन का आनंद लें।
प्रथम डर से मदद दान पूजा करें,
दूजा मदद दान पूजा से बचें,
तीजा शकुन आनंद के लिए,
मदद दान पूजा करें।
जग में कोई नहीं ऐसा,
जो जीवन का आनंद लेने का यत्न ना करें। लेकिन जीवन मरण के जाल से बचने का कोई प्रयत्न ना करें।
बस सब जीवन का आनंद पाने का, प्रतिदिन हर क्षण जतन करें,
चाहे दूजा कोई मरे या जिए।
जब सब प्राणी परमात्मा से मिले,
तो मोक्ष प्राप्ति वाला ही परमात्मा की पहली पसंद बने।
Rajesh rajesh
09-May-2023 12:13 PM
बहुत खूबसूरत सोच
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Shashank मणि Yadava 'सनम'
09-May-2023 07:58 AM
Nice
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Saroj Verma
08-May-2023 11:53 PM
Very nice👌👌👌👌
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